Monday 2 April 2018

प्रेम से पहले की बात

(देवयानी, तुम्हारे लिए)

1
सुनो-
    अब से एक पल पहले में क्या था
     नहीं जानता
     ज़ाहिर है, एक पल बाद की ख़बर भी नहीं
इस पल मैं तुमसे कह रहा हूँ
      कोई झूठा वादा नहीं
      कोई तिलिस्मी कसमें नहीं

कि "मुझे तुमसे प्यार है" !!

पर यह कतई ज़रूरी नहीं
     की सुबह की चाय तुम्हारे साथ पियूं
     तो शाम का वक़्त भी तुम्हारे साथ बिताऊं
तुम्हारे लिए भी ऐसी कोई बंदिश नहीं हैं !!
मैं हमेशा पंछी रहा हूँ और ऐसा ही रहूँगा
       प्रेम का कोई पिंजरा
       कभी भी, अपने चारों ओर नहीं बुनूँगा
तुमसे कभी कुछ नहीं मांगूंगा, ऐसा नहीं है
        अगर कुछ लूटा सका तो वक़्त तय करेगा
         ज़रूरी नहीं की प्यार हो

प्यार के अलावा भी कई भाव हैं भीतर !!

मैं प्रेम में कोई हिसाब नहीं रखता
         जिस रात तुम्हें मेरे साथ नींद न आए
         कहीं भी, किसी के भी साथ सोने के लिए
तुम आज़ाद हो !!

बिल्कुल यह मत सोचना
          की मुझमें बंदिशे बाँधने की ताकत नहीं हैं
           मुझे बस आज़ादी से प्यार है
आज़ादी जो किसी एक की नहीं है
            हर एक की है
            बराबर ।

अब भी -
             यह सब जानकार भी
             अगर तुम मुझसे प्रेम कर सकती हो
             तब तो, बेसब्री से मुझे तुम्हारा इंतज़ार रहेगा ।
सिर्फ़ इस पल के लिए !!